उचित निवेश के लिए सुनहरा नियम
अस्वीकरण :
इस वेबसाइट पर दी की गई जानकारी, प्रोडक्ट और सर्विसेज़ बिना किसी वारंटी या प्रतिनिधित्व, व्यक्त या निहित के "जैसा है" और "जैसा उपलब्ध है" के आधार पर दी जाती हैं। Khatabook ब्लॉग विशुद्ध रूप से वित्तीय प्रोडक्ट और सर्विसेज़ की शैक्षिक चर्चा के लिए हैं। Khatabook यह गारंटी नहीं देता है कि सर्विस आपकी आवश्यकताओं को पूरा करेगी, या यह निर्बाध, समय पर और सुरक्षित होगी, और यह कि त्रुटियां, यदि कोई हों, को ठीक किया जाएगा। यहां उपलब्ध सभी सामग्री और जानकारी केवल सामान्य सूचना उद्देश्यों के लिए है। कोई भी कानूनी, वित्तीय या व्यावसायिक निर्णय लेने के लिए जानकारी पर भरोसा करने से पहले किसी पेशेवर से सलाह लें। इस जानकारी का सख्ती से अपने जोखिम पर उपयोग करें। वेबसाइट पर मौजूद किसी भी गलत, गलत या अधूरी जानकारी के लिए Khatabook जिम्मेदार नहीं होगा। यह सुनिश्चित करने के हमारे प्रयासों के बावजूद कि इस वेबसाइट पर निहित जानकारी अद्यतन और मान्य है, Khatabook किसी भी उद्देश्य के लिए वेबसाइट की जानकारी, प्रोडक्ट, सर्विसेज़ या संबंधित ग्राफिक्स की पूर्णता, विश्वसनीयता, सटीकता, संगतता या उपलब्धता की गारंटी नहीं देता है।यदि वेबसाइट अस्थायी रूप से अनुपलब्ध है, तो Khatabook किसी भी तकनीकी समस्या या इसके नियंत्रण से परे क्षति और इस वेबसाइट तक आपके उपयोग या पहुंच के परिणामस्वरूप होने वाली किसी भी हानि या क्षति के लिए उत्तरदायी नहीं होगा।
We'd love to hear from you
We are always available to address the needs of our users.
+91-9606800800
गोल्डन रूल (राजकोषीय नीति)
स्वर्ण नियम के ऑपरेशन के लिए एक दिशानिर्देश है राजकोषीय नीति । स्वर्ण नियम कहा गया है कि अधिक आर्थिक चक्र , सरकार केवल करने के लिए उधार ले जाएगा निवेश और फंड के लिए नहीं वर्तमान खर्च । आम आदमी के शब्दों में इसका मतलब है कि औसतन एक आर्थिक चक्र के उतार-चढ़ाव पर सरकार को केवल उस निवेश के भुगतान के लिए उधार लेना चाहिए जो आने वाली पीढ़ियों को लाभ पहुंचाए। आज के करदाताओं को लाभ पहुंचाने वाले दैनिक खर्च का भुगतान आज के करों से किया जाना चाहिए, न कि लीवरेज्ड निवेश से। इसलिए, चक्र के दौरान वर्तमान बजट (यानी, निवेश का शुद्ध) को संतुलित होना चाहिए या अधिशेष में लाया जाना चाहिए।
'सुनहरे नियम' ढांचे का मूल यह है कि, एक सामान्य नियम के रूप में, व्यापार चक्र के दौरान सार्वजनिक क्षेत्र के संसाधनों के स्थिर आवंटन को बनाए रखने के लिए नीति तैयार की जानी चाहिए। स्थिरता को निम्नलिखित अनुपातों के रूप में परिभाषित किया गया है:
- सार्वजनिक क्षेत्र की निवल संपत्ति का राष्ट्रीय आय से अनुपात
- सार्वजनिक चालू व्यय का राष्ट्रीय आय से अनुपात
- सार्वजनिक क्षेत्र की आय का राष्ट्रीय आय से अनुपात।
यदि राष्ट्रीय आय बढ़ रही है, और निवल मूल्य सकारात्मक है, तो इस नियम का तात्पर्य है कि, औसतन, व्यय से अधिक आय का शुद्ध अधिशेष होना चाहिए।
गोल्डन रूल का औचित्य मैक्रोइकॉनॉमिक थ्योरी से निकला है । अन्य बातों के समान होने के नाते, सरकार उधार में वृद्धि को जन्म देती है वास्तविक ब्याज दर फलस्वरूप बाहर भीड़ (कम करना) निवेश क्योंकि एक उच्च वापसी की दर निवेश के लिए आवश्यक है लाभदायक होने की। जब तक सरकार निजी निवेश पर वापसी की समान दर वाली परियोजनाओं में निवेश करने के लिए उधार ली गई धनराशि का उपयोग नहीं करती है, तब तक पूंजी संचय गिरता है, जिसका आर्थिक विकास पर नकारात्मक परिणाम होता है ।
गोल्डन रूल 1997 में आने वाली लेबर सरकार द्वारा निर्धारित कई राजकोषीय नीति सिद्धांतों में से एक था । इन्हें सबसे पहले राजकोष के तत्कालीन चांसलर गॉर्डन ब्राउन ने अपने 1997 के बजट भाषण में निर्धारित किया था । इसके बाद उन्हें वित्त अधिनियम 1998 और दिसंबर 1998 में हाउस ऑफ कॉमन्स द्वारा अनुमोदित राजकोषीय स्थिरता संहिता में औपचारिक रूप दिया गया ।
2005 में ऐसी अटकलें थीं कि चांसलर ने इन नियमों में हेरफेर किया था क्योंकि कोषागार ने आर्थिक चक्र की शुरुआत के लिए संदर्भ फ्रेम को दो साल पहले (1999 से 1997 तक) स्थानांतरित कर दिया था। इसके निहितार्थ £18 बिलियन - £22 बिलियन अधिक उधार लेने की अनुमति देना है। [1]
सरकार का अन्य वित्तीय नियम सतत निवेश नियम है , जिसके लिए ऋण को "विवेकपूर्ण स्तर" पर रखना आवश्यक है। यह वर्तमान चक्र के प्रत्येक वर्ष में सकल घरेलू उत्पाद के 40% से कम पर निर्धारित है।
2009 तक, गोल्डन रूल को छोड़ दिया गया है।
फ्रांस में, संसद के निचले सदन ने १२ जुलाई २०११ को फ्रांसीसी संविधान के अनुच्छेद ३२, ३९ और ४२ में सुधार के पक्ष में मतदान किया । [२] लागू होने के लिए संशोधनों को ३/५ बहुमत से पारित करने की आवश्यकता है। संयुक्त ऊपरी और निचले सदन (कांग्रेस)।
2009 में जर्मनी के संविधान के अनुच्छेद 109, 115 और 143 में एक संतुलित बजट प्रावधान Schuldenbremse ("ऋण ब्रेक") पेश करने के लिए संशोधन किया गया था । [३] राज्य के लिए २०१६ में और क्षेत्रों के लिए २०२० में सुधार लागू होगा।
7 सितंबर 2011 को, स्पेनिश सीनेट ने राज्य के संरचनात्मक घाटे (राष्ट्रीय, क्षेत्रीय और नगरपालिका) पर एक उचित निवेश के लिए सुनहरा नियम टोपी पेश करते हुए स्पेनिश संविधान के अनुच्छेद 135 में संशोधन को मंजूरी दी। [४] संशोधन २०२० से लागू होगा।
7 सितंबर 2011 को, इतालवी निचले सदन ने इतालवी संविधान के अनुच्छेद 81 के लिए एक संतुलित बजट दायित्व [5] पेश करते हुए एक संवैधानिक सुधार को मंजूरी दी । नियम 2014 में लागू होगा। यह सुधार यूरोपीय स्थिरता और विकास संधि और एससी राजकोषीय कॉम्पैक्ट में निहित है। इसने वैचारिक तटस्थता का परित्याग करने के लिए प्रेरित किया है जो एक स्पष्ट नवशास्त्रीय प्रेरणा के पक्ष में इतालवी वित्तीय संविधान की विशेषता है। [6]
कितने साल में आपका निवेश हो जाएगा दोगुना? इस रूल से जान सकते हैं
पैसा डबल कर देना भारत में निवेशकों का दशकों पुराना आकर्षण रहा है. कुछ दशक पहले जब ब्याज दरें ज्यादा थीं, तो 5-6 साल में ही लोगों का पैसा डबल हो जाता था, लेकिन अब तो इसके लिए 10 साल से ज्यादा लग जाते हैं. आप एक सिम्पल सा नियम फॉलो कर यह समझ सकते हैं कि आपका पैसा कितने साल में डबल हो सकता है, जिसे 'रूल ऑफ 72' कहते हैं.
क्या होता है रूल ऑफ 72: सबसे पहले तो यह जानते हैं कि रूल ऑफ 72 यानी 72 का नियम है क्या? यह असल में गणित के समीकरण पर आधारित तकनीक है, जिससे बेहद आसानी से यह उचित निवेश के लिए सुनहरा नियम पता लगाया जा सकता है कि आपका पैसा कितने साल में दोगुना हो सकता है. इस नियम के मुताबिक ब्याज दर को 72 में उचित निवेश के लिए सुनहरा नियम भाग देने से जो नतीजा आता है, उतने साल में किसी व्यक्ति का निवेश दोगुना हो सकता है.
उदाहरण के लिए अगर किसी व्यक्ति ने किसी बैंक एफडी में अपना एक लाख रुपया लगा रखा है, जिसमें हर साल महज 6 फीसदी का ही ब्याज मिल रहा हो, तो उसका निवेश बढ़कर दो लाख रुपये तक होने में 72/6 = 12 यानी 12 साल लग सकते हैं. दूसरी तरफ अगर किसी ऐसे कॉरपोरेट एफडी में 1 लाख रुपये लगा रखा है, जिसमें सालाना 9 फीसदी का ब्याज लगता है तो उसका पैसा दोगुना होने मे 72/9 = 8 यानी आठ साल ही लगेंगे. यह फॉर्मूला लगभग पूरी तरह से काम करता है. टैक्सेज या अन्य वजह से बस थोड़ा बहुत समय का अंतर आ सकता है.
कहां होता है जल्दी पैसा दोगुना: अब हम आपको बताते हैं कि मौजूदा दिनों में आपका पैसा कहां जल्दी दोगुना हो सकता है. आजकल ज्यादा रिटर्न ब्याज दर आपको कॉरपोरेट एफडी या म्यूचुअल फंड में मिल सकता है. किसी अच्छे इक्विटी म्यूचुअल फंड में आपको सालाना 12 फीसदी तक भी रिटर्न मिल सकता है. तो आपको पैसा नियम 72 के मुताबिक सिर्फ 6 साल में दोगुना हो सकता है.
लेकिन इक्विटी म्यूचुअल फंड शेयर बाजार के उतार-चढ़ाव से जुड़ा होता है, इसलिए इसमें जोखिम होता है. है. इसकी जगह उचित निवेश के लिए सुनहरा नियम आप किसी शॉर्ट, मीडियम या लॉन्ग टर्म के डेट म्यूचुअल फंड में निवेश कर सकते हैं, जिनमें जोखिम कम होता है. ऐसे किसी फंड उचित निवेश के लिए सुनहरा नियम में आपको करीब 8 फीसदी का रिटर्न मिल सकता है. इससे करीब 9 साल में आपका पैसा दोगुना हो सकता है.
इसी तरह कॉरपोरेट एफडी में आपको 8 से 12 फीसदी का रिटर्न मिल सकता है और पैसा इसी अनुरूप 9 से 6 साल में दोगुना हो सकता है. लेकिन इस बात का ध्यान रखिएगा कि कॉरपोरेट एफडी में भी रिस्क होता है. इसलिए हमेशा नामी-गिरामी यानी मजबूत कंपनी के एफडी में निवेश करें और यह देखें कि उसके एफडी को रेटिंग एजेंसियों ने अच्छी रेटिंग दी हो.
इसी तरह नेशनल सेविंग्स सर्टिफिकेट (NSC) में फिलहाल करीब 6.8 फीसदी का ब्याज मिल रहा है. रूल 72 के मुताबिक इसमें आपका पैसा 72/6.8 यानी करीब 10.5 साल में दोगुना हो सकता है. इसी नियम के मुताबिक पोस्ट ऑफिस सेविंग स्कीम में आपका पैसा 10 से 13 साल में दोगुना हो सकता है, क्योंकि इनकी विभिन्न योजनाओं में ब्याज 5.5 फीसदी से 7.5 फीसदी के बीच मिलता है.
Mahindra Scorpio पर गश्त लगाएगी इस देश की पुलिस, हाई कमिश्नर ने सौंपी चाबियां
महिंद्रा लोगों के दिलो पर कई सालों से राज करते आ रही है। वहीं कंपनी के लिए आज सबसे सुनहरा मौका भी है। आपको बता दे कोलंबो में भारत के उच्चायोग ने हाल ही में 125 महिंद्रा स्कॉर्पियो एसयूवी श्रीलंकाई पुलिस को सौंपी है।
नई दिल्ली,ऑटो डेस्क। भारतीय बाजार में महिंद्रा की गाड़यों के दीवाने तमाम लोग हैं। गांव से लेकर शहर तक इस कंपनी की गाड़ियों को काफी पसंद किया जाता है। इसका साफ असर आज देखने को मिला है। कोलंबो में भारत के उच्चायोग ने हाल ही में 125 महिंद्रा स्कॉर्पियो एसयूवी श्रीलंकाई पुलिस को सौंपी हैं, ताकि संकट के समय में पड़ोसी देश का समर्थन किया जा सके। 125 स्कॉर्पियो क्लासिक एसयूवी भारत द्वारा श्रीलंका को मौजूदा क्रेडिट लाइन के तहत दी गई 500 यूनिट्स में से पहली खेप के अंतर्गत हैं।
भारतीय उच्चायोग के ट्विटर हैंडल पर साझा किया
आपको बता दें कि हैंडओवर की तस्वीरें भारतीय उच्चायोग के ट्विटर हैंडल पर साझा की है। यह कदम महिंद्रा की स्कॉर्पियो क्लासिक को विदेशों के बाजारों में निर्यात करने की योजना के अनुरूप भी है, क्योंकि पुरानी जनरेशन की कई स्थानों पर मजबूत मांग भी देखी गई है और डिमांड काफी तेजी से बढ़ भी रही है।
अफ्रीकी देशों के साथ-साथ ऑस्ट्रेलिया में भी बनाएगी रास्ता
इस साल की शुरुआत में मामूली उचित निवेश के लिए सुनहरा नियम बदलाव के साथ महिंद्रा स्कॉर्पियो क्लासिक की घरेलू बिक्री शुरू हुई थी। वहीं इस एसयूवी को दक्षिण अफ्रीका, भूटान, नेपाल और श्रीलंका में भी निर्यात किया जाता है। इतना ही नहीं, ये आने वाले दिनों में अफ्रीकी देशों के साथ-साथ ऑस्ट्रेलिया में भी अपना रास्ता बना सकता है। हाल के दिनों में लॉन्च हुई नई स्कॉपिर्यो-एन को काफी मंहगा माना जाता है। उसके बदले में क्लासिक एक अधिक किफायती ऑप्शन साबित हुई है।
इस साल अगस्त हुई लॉन्च
महिंद्रा स्कॉर्पियो क्लासिक को इस साल अगस्त में लॉन्च किया गया था। जिसमें संशोधित ग्रिल के साथ नया ट्विन पीक्स लोगो, नए सिरे से काम किया हुआ फ्रंट बम्पर, संशोधित एलईडी प्रोजेक्टर हेडलैंप और डीआरएल, और नए फॉग लैंप भी शामिल है। इसकी प्रोफाइल सामान्य रहती है। डिजाइन किए गए अलॉय व्हील्स को छोड़कर, जबकि रियर वर्टिकल-स्टैक्ड एलईडी टेल लाइट्स और टेलगेट पर नए क्लासिक बैज को सपोर्ट करता है।
दो वेरिएंट्स में उपलब्ध है
आपको बता दें ये कार केवल दो वेरिएंट्स में उपलब्ध है। फीचर्स के तौर पर स्कॉर्पियो क्लासिक के केबिन को नए 9-इंच टचस्क्रीन इंफोटेनमेंट सिस्टम, नए ब्लैक और बेज इंटीरियर, ऑडियो कंट्रोल के साथ स्टीयरिंग व्हील और दूसरे रो में अपग्रेड किए गए उचित निवेश के लिए सुनहरा नियम फीचर्स भी शामिल है। वहीं अंतिम रो में इसमें फ्रंट फेसिंग बेंच सीट या बेस ट्रिम पर साइड फेसिंग सीट भी मिलते हैं। स्कॉर्पियो क्लासिक 130 बीएचपी और 300 एनएम पीक टॉर्क जनरेट करती है। ये 2.2-लीटर mHawk डीजल इंजन से आती है, जबकि केवल 6-स्पीड गियरबॉक्स के साथ जोड़ा गया है।
Punjab & Haryana Court Jobs: 8वीं पास के लिए सरकारी नौकरी पाने सुनहरा मौका, ऐसे करें आवेदन
जॉब डेस्क, Punjab & Haryana उचित निवेश के लिए सुनहरा नियम Court Jobs | पंजाब एवं हरियाणा हाईकोर्ट द्वारा चौकीदार के पदों पर भर्ती के लिए आवेदन मांगे गए हैं. आपको बता दें कि यह भर्तियां स्थायी आधार पर की जाएगी. जो भी इन पदों पर आवेदन भेजने के इच्छुक हैं वह ऑनलाइन माध्यम से अपने आवेदन भेज सकते हैं.
खबर में आगे आपको पदों से संबंधित सारी जानकारी जैसे आवेदन करने का माध्यम, आवेदन प्रक्रिया, चयन प्रक्रिया, आवेदन शुल्क, आवेदन की अंतिम तिथि इत्यादि दी गई है इसीलिए आपसे अनुरोध है की खबर को पूरा पढ़ें.
Punjab & Haryana High Court Vacancy 2022 |
Organization | Punjab & Haryana High Court |
Post Name | Chowkidar |
Vacancies | 50 |
Salary/ Pay Scale | Rs. 4,900-10,680/- (Grade Pay 1,650/-). – |
Job Location | Chandigarh |
Last Date to Apply | 09 January 2023 |
Mode of Apply | Online |
Category | Haryana Govt Jobs |
Official Website | highcourtchd.gov.in |
Official Notification | Click Here |
Application Form | Click Here |
Join Jobs Group | Click Here |
यह भी पढ़े - हरियाणा में 10 दिन में मिलेगा ड्राइविंग लाइसेंस, परिवहन विभाग ने इन 37 सेवाओं की समय- सीमा की निर्धारित
हरियाणा में निकली भर्तियों की जानकारी हेतु यहाँ से चेक करें- Haryana Jobs
Important Dates |
आवेदन करने की शुरू तिथि: 20 दिसंबर 2022
आवेदन करने की अंतिम तिथि: 09 जनवरी 2023
Education Qualification |
इन पदों के लिए उम्मीदवार का 8वीं पास होना जरुरी है.
Application Fee |
Age Limit |
न्यूनतम आयु: 18 वर्ष
अधिकतम आयु: 35 वर्ष
Vacancy Details |
- इन पदों के लिए उम्मीदवारों को ऑनलाइन आवेदन करने होंगे.
- सबसे पहले नीचे दिए गए ऑनलाइन लिंक को खोलें.
- पोर्टल पर अपना अकाउंट बनाएं और लॉगिन करें. अपनी मूलभूत जानकारी भरें.
- शैक्षणिक योग्यता और कार्य अनुभव इत्यादि जानकारी भरें.
- अपनी स्कैन की गई फोटो, हस्ताक्षर, जन्म तिथि प्रमाण पत्र, 8वीं कक्षा का प्रमाण पत्र, यदि उम्मीदवार आरक्षित वर्ग से संबंधित है तो जाति प्रमाण पत्र इत्यादि अपलोड करें.
- भरी गई जानकारी को देखे यदि कोई गलती है तो उसे तुरंत ठीक करें.
- सफलतापूर्वक उचित निवेश के लिए सुनहरा नियम जमा होने के बाद आवेदन फार्म का प्रिंट आउट ले लें.
Selection Process |
उम्मीदवारों का चयन निम्नलिखित आधार पर होगा.
4. दस्तावेज सत्यापन
नोट: अभ्यर्थियों/ उम्मीदवारों से विनम्र निवेदन है कि भर्ती के लिए आवेदन करने से पहले अधिकारिक विज्ञापन जरुर देखे.
हमें Google News पर फॉलो करे- क्लिक करे! हरियाणा की ताज़ा खबरों के लिए अभी हमारे हरियाणा ताज़ा खबर व्हात्सप्प ग्रुप में जुड़े!
अधिकतम अंक: 5
न्यूनतम अंक: 1
मतदाताओं की संख्या: 240